Rotational Motion
घूर्णन गति
1. द्रव्यमान M तथा त्रिज्या R का एक पतला वृत्ताकार वलय अपनी अक्ष के परितः नियत कोणीय वेग w से घूम रहा है। वलय के व्यास के विपरीत सिरों पर दो पिण्ड जिनमें प्रत्येक का द्रव्यमान m है, चिपका दिए गए हैं। अब वलय का कोणीय वेग होगा
(a) wM/(M+m)
(b) w(M-2m)/(M+2m)
(c) wM/(M+2m)
(d) w(M+2m)/M
2. m द्रव्यमान का एक कण क्षैतिज से 45° के कोण पर v वेग से प्रक्षेपित किया जाता है। जब प्रक्षेपित कण अधिकतम ऊँचाई h पर है, तो प्रक्षेपण बिन्दु के परितः उसके कोणीय संवेग का परिमाण है
(a) शून्य
(b)
(c)
(d)
3. L लम्बाई की एक नलिका M द्रव्यमान के असंपीड्î Incompressible) द्रव से पूर्णतया भरी है तथा दोनों सिरों से बन्द है। नलिका को उसके एक सिरे के परितः एकसमान कोणीय वेग w से क्षैतिज तल में घुमाया जाता है। नलिका में भरे द्रव द्वारा दूसरे सिरे पर आरोपित बल का मान है
(a) (Mw2 L)/2
(b) Mw2 L
(c) (Mw2L)/4
(d) (Mw2L2)/2
4. नगण्य द्रव्यमान तथा 1.4 मी लम्बे दण्ड के सिरों पर दो बिन्दु द्रव्यमान 0.3 किग्रा तथा 0.7 किग्रा स्थित हैं। यह दण्ड लम्बाई के लम्बवत् अक्ष के परितः एकसमान कोणीय चाल से घुमाया जाता है। दण्ड को घुमाने में किए गए कार्य के न्यूनतम मान हेतु, दण्ड पर स्थित वह बिन्दु जिससे घूर्णन अक्ष गुजरती है, स्थित होगा
(a) 0.3 किग्रा द्रव्यमान से 0.42 मी पर
(b) 0.7 किग्रा द्रव्यमान से 0.70 मी पर
(c) 0.30 किग्रा द्रव्यमान से 0.98 मी पर
(d) 0.7 किग्रा द्रव्यमान से 0.98 मी पर
5. एक द्रव्यमान m, x -अक्ष के समान्तर रेखा के अनुदिश मूलबिन्दु से दूर नियत वेग से गतिमान है। मूलबिन्दु के परितः इसका कोणीय संवेग
(a) शून्य है
(b) नियत रहेगा
(c) बढ़ता जाएगा
(d) घटता जाएगा
6. भुजा a का एक घनाकार ब्लॉक एक चिकने क्षैतिज तल पर वेग v से चल रहा है। बिन्दु O पर यह एक मेंड से टकराता है। टकराने के पश्चात् ब्लॉक की को कोणीय चाल है
(a) 3v/4a
(b) 3v/2a
(c) (√3 v)/(√2 a)
(d) शून्य
7. एक चिकना गोला A, घर्षणहीन तल पर कोणीय वेग w तथा द्रव्यमान-केन्द्र वेग v से गतिमान है। यह विराम अवस्था में स्थित समरूप गोले B से प्रत्यास्थ रूप से साधे (Head-on) टकराता है। सभी स्थानों पर घर्षण नगण्य है। टकराने के बाद, यदि गोलों की कोणीय चालें क्रमशः wA तथा wB हैं, तब
(a) wA < wB
(b) wA = wB
(c) wA = w
(d) wB = w
8. लम्बाई L तथा एकसमान रेखीय द्रव्यमान घनत्व (Linear mass denisty) ρ वाले एक तार को वृत्तीय लूप में चित्रानुसार मोड़ा गया है। लप का केन्द O है। स्पर्शरेखीय अक्ष XX’ के परितः लूप का जड़त्व आघूर्ण है।
(a) (ρL3)/(8π2)
(b) (ρL3)/(16π2)
(c) (3ρL3)/(16π2)
(d) (3ρL3)/(8π2)
9. त्रिज्या R की एक वृत्ताकार डिस्क का एक-चैथाई भाग ,काटकर, इस भाग को मूल डिस्क के केन्द्र से गुजरने वाली तथा डिस्क के पृष्ठ के लम्बवत् अक्ष के परितः घुमाया जाता है। यदि डिस्क के काटे गए भाग का द्रव्यमान M हो, तब इसका घूर्णन अक्ष के परितः जड़त्व-आघूर्ण होगा
(a)
(b)
(c)
(d)
10. एक बेलन किसी आनत समतल पर ऊपर की ओर लुढ़कता है तथा किसी ऊँचाई तक पहुँचने के बाद नीचे की ओर लुढ़कता है (आरोहण तथा अवरोहण दोनों समय बिना फिसले)। बेलन पर आनत समतल के समान्तर लगने वाले घर्षण बल की दिशाएँ हैं।
(a) आरोहण (Ascending) के समय ऊपर तथा अवरोहण (Descending) के समय नीचे
(b) आरोहण तथा अवरोहण दोनों समय ऊपर
(c) आरोहण के समय नीचे, अवरोहण के समय ऊपर
(d) आरोहण तथा अवरोहण दोनों समय नीचे
11. द्रव्यमान M की दो गेंदें एक हल्के दृढ़ दण्ड द्वारा चित्रानुसार जुड़ी हैं। यदि निकाय के एक द्रव्यमान को आवेग J = Mv दिया जाए, तो उसका कोणीय वेग होगा
(a) v/L
(b) 2v/L
(c) v/3L
(d) v/4L
12. एक कण एकसमान वृत्तीय गति में। वृत्त के तल के किस बिन्दु के परितः कण का कोणीय संवेग संरक्षित रहेगा?
(a) वृत्त का केन्द्र
(b) वत्त की परिधि (Circumference) पर
(c) वृत्त के अन्दर
(d) वृत्त के बाहर
13. एक वृत्ताकार डिस्क एक क्षैतिज तल पर बिना फिसले एकसमान कोणीय चाल w से लुढ़क रही है। डिस्क का केन्द्र C है, तथा C से समदूरस्थ (Equidistant) बिन्दु Q तथा P हैं। यदि P,Q व C के वेगों के परिमाण क्रमशः vP, vQ तथा vC हैं, तब
(a) vQ > vC > vP
(b) vQ < vC < vP
(c) vQ = vP, vC = vP/2
(d) vQ < vC > vP
14. एक बच्चा अपने हाथ मोड़कर, केन्द्रीय अक्ष के परितः घूमते एक प्लेटफॉर्म के केन्द्र पर खड़ा है। निकाय की गतिज ऊर्जा K है। बच्चा अपनी भुजायें फैला लेता है जिससे कि निकाय का जड़त्व-आघूर्ण दोगुना हो जाता है। निकाय की गतिज ऊर्जा हो जाएगी
(a) 2K
(b) K/2
(c) K/4
(d) 4K
15. एक कण वृत्तीय पथ के अनुदिश लगातार घटती चाल से घूमने के लिए प्रतिबंधित है। सही कथन का चयन कीजिए
(a) कोणीय संवेग नियत है
(b) त्वरण (a) की दिशा केन्द्र की ओर है
(c) कण घटती हुई त्रिज्या के सर्पिलाकार (spiral) पथ में गतिमान है
(d) काणीय संवेग की दिशा नियत रहती है।
Answer
1. (c)
2. (b)
3. (a)
4. (c)
5. (b)
6. (a)
7. (c)
8. (d)
9. (a)
10. (b)
11. (a)
12. (a)
13. (a)
14. (b)
15. (d)
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